मंत्री बोले- फांसी देने का कानून बना तो दुष्कर्म करने वाले पीडि़ता को मार डालेंगे
भोपाल .दुष्कर्म के आरोपी को फांसी की सजा दिलाने के लिए कानून में प्रस्तावित संशोधन अगली कैबिनेट बैठक तक फिलहाल टल गया। इस एजेंडे पर मंगलवार को कैबिनेट में चर्चा शुरू हुई तो वित्तमंत्री जयंत मलैया और पंचायत एवं ग्रामीण विकास मंत्री गोपाल भार्गव समेत कुछ मंत्रियों ने सवाल खड़े किए। कहा- यदि फांसी के साथ तमाम प्रावधान सख्त किए जाते हैं तो दुष्कर्म करने वाला व्यक्ति पीड़िता काे जान से मार डालेगा। इसी तरह कई मामलों में बाद में झूठ और सच का पता चलता है। लिहाजा इस पर विचार होना चाहिए। मुख्यमंत्री ने भी कहा कि यह सही है। नाबालिग के लिए फांसी का तो पहले से ही उल्लेख है, जहां तक बात सख्त प्रावधानों की है तो इस पर एक बार और विचार कर लिया जाए।
मुख्यमंत्री ने यह भी कहा कि इसी शीतकालीन सत्र में दंड विधि (मप्र संशोधन विधेयक 2017) पेश किया जाना है। विधि मंत्री रामपाल सिंह ने कहा कि चूंकि मेरे विभाग का मामला है, इसलिए इस विषय पर मंत्रियों ने जो सुझाव दिए हैं, उसका परीक्षण करेंगे।
हॉस्टल में बच्चों भेड़-बकरी की तरह रखेंगे क्या : धुर्वे
जनजातीय कार्य विभाग के प्रस्ताव पर चर्चा के दौरान सामने आया कि 9वीं और 10वीं के हॉस्टल में यदि जगह रिक्त है तो कॉलेज छात्रों को जगह दे दी जाए। इस पर खाद्य मंत्री ओमप्रकाश धुर्वे ने कहा कि बच्चों को भेड़-बकरी की तरह हॉस्टल में नहीं रखा जा सकता। मंत्री अंतर सिंह आर्य व विजय शाह ने भी इसका विरोध किया।
किसानों को ब्याज, भावांतर, तीर्थकर जैसे मुद्दों पर भी हुई चर्चा
मलैया बोले- पेट्रोलियम भी एक-दो साल में जीएसटी के दायरे में आएगा
वित्तमंत्री जयंत मलैया ने मीडिया से बातचीत में कहा कि आने वाले एक-दो वर्ष में पेट्रोलियम पदार्थ भी जीएसटी के दायरे में आएंगे। शराब बंदी के सवाल को वे टाल गए। पद्मावती फिल्म के बारे में पूछने पर उन्होंने कहा-‘क्या है यह पद्मावती।’
सीएम ने मंत्रियों को समझाई भावांतर योजना, कहा- किसानों को भी बताएं
विधायक दल की बैठक में भावांतर स्कीम समझाने के बाद मुख्यमंत्री शिवराज सिंह चौहान ने कैबिनेट बैठक में मंत्रियों को भावांतर स्कीम के बारे में बताया। कहा कि प्रभार के क्षेत्र या जिले में जाएं तो भावांतर स्कीम के बारे में किसानों को बताएं।
कैबिनेट के अहम फैसले : तीर्थ स्थलों पर लगने वाला कर समाप्त
- राजस्व अधिकारियों- कर्मियों के लिए आवास गृहों के निर्माण को निरंतर रखा जाएगा।
- वर्ष 2017-18 में प्रदेश के किसानों को शून्य प्रतिशत ब्याज दर पर अल्पावधि फसल ऋण दिए जाने की योजना जारी रहेगी।
- ओंकारेश्वर समेत प्रदेश के तीर्थ स्थलों पर लगने वाला तीर्थकर समाप्त किया गया।
- मीसा बंदियों को 50 हजार रुपए तक चिकित्सा अनुदान मिलेगा। पहले 20 हजार रुपए था। कैंसर, हार्ट जैसी बीमारी होने पर पूरा खर्च सरकार उठाएगी।
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