हाईकोर्ट का नोटिस, क्यों न PS के खिलाफ चलाया जाए अवमानना का मुकदमा?

490 By 7newsindia.in Sun, Jul 30th 2017 / 09:03:09 प्रशासनिक     

मध्य प्रदेश हाईकोर्ट ने मंगलवार को कहा कि क्यों न शहरी विकास विभाग के प्रमुख सचिव मलय श्रीवास्तव के खिलाफ अवमानना का मामला चलाया जाए? मामला प्रदेश के चारों महानगरों में बन रहीं हाईराइज बिल्डिंगों में कानून का पालन न होने और उच्च न्यायालय द्वारा करीब ढाई साल पहले दिए गए आदेश का पालन न होने से संबंधित है। एक अवमानना मामले पर प्रारंभिक सुनवाई के बाद चीफ जस्टिस हेमंत गुप्ता और जस्टिस विजय कुमार शुक्ला की युगलपीठ ने अनावेदक प्रमुख सचिव को दो माह में जवाब पेश करने कहा है। यह अवमानना याचिका इंदौर में रहने वाले प्रदीप हिन्दूजा की ओर से दायर की गई है।

आवेदक का कहना है कि प्रदेश में हाईराइज बिल्डिंगों को निर्माण के दौरान कानून का पालन न होने को चुनौती देकर उन्होंने वर्ष 2010 में दो याचिकाएं दायर की थीं। उन याचिकाओं में आरोप था कि टाउन एण्ड कंट्री प्लानिंग द्वारा नियमों के खिलाफ जाकर हाईराइज बिल्डिंगों के निर्माण की अनुमति दी जा रही है। इन बिल्डिंगों में न तो अग्निशमन उपकरण लगाए जा रहे हैं और न ही भूमि विकास नियमों का पालन किया जा रहा है।

इस बारे में सरकार के संबंधित विभाग को शिकायतें देने के बाद भी कोई कार्रवाई न होने पर दो याचिकाएं दायर हुई थीं। हाईकोर्ट ने 25 फरवरी 2015 को उन दोनों याचिकाओं का निराकरण करते हुए सक्षम अधिकारियों को कहा था कि टाउन एण्ड कंट्री प्लानिंग द्वारा दी जाने वाली अनुमतियों को लेकर याचिकाकर्ता की आपत्तियों का 6 माह के भीतर निराकरण किया जाए। कोर्ट द्वारा तय किए गए 6 माह के समय के बाद भी कोई कार्रवाई न किए जाने पर यह अवमानना याचिका दायर की गई है।

याचिका में राहत चाही गई है कि हाईकोर्ट से सुस्पष्ट आदेश के बाद भी आपत्तियों का निराकरण न करने पर अनावेदकों को अवमानना में दण्डित किया जाए। इन आधारों के साथ दायर मामले में मध्य प्रदेश सरकार के मौजूदा मुख्य सचिव बसंत प्रताप सिंह (तत्कालीन हाईराइज कमेटी इंदौर के चेयरमैन), प्रमुख सचिव मलय श्रीवास्तव, डिप्टी सेक्रेटरी सीके जाधव, ज्वाॅइंट डायरेक्ट एसके मुदगल (तत्कालीन डिप्टी सेक्रेटरी), टीएनसीपी के डायरेक्टर संदीप यादव, इंदौर नगर निगम आयुक्त मनीष सिंह, भोपाल की निगमायुक्त छवि भारद्वाज, ग्वालियर के निगमायुक्त अनय द्विवेदी और जबलपुर नगर निगम आयुक्त वेदप्रकाश को पक्षकार बनाया गया है।

मामले पर मंगलवार को हुई प्रारंभिक सुनवाई के दौरान याचिकाकर्ता की ओर से अधिवक्ता संजय राम ताम्रकार ने पक्ष रखा। सुनवाई के बाद युगलपीठ ने अनावेदक प्रमुख सचिव को शोकॉज नोटिस जारी करते हुए कहा कि वे अपने जवाब किसी अधिवक्ता के माध्यम से दाखिल करें।

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